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Marathi Feature Film "Trusha" 1st Scene

Sequence 1
Scene - 1
(Int.-Meeting Hall - Day) (It's a dream Sequence so we can use Wide Angle lens and Reverb effect in Audio)

Location Description: एक अँधेरा हॉल कमरा, लम्बी मीटिंग तबेल की तरह खड़े दो पुराने ठेले, दोनों और फटे-पुराने कपडे पहने ३-४ लोग, एक और फटा सा कुरता और एक हैट पहने बैठा व्यक्ति, ठेले के दोनों और बैठे लोगों में... एक मोटा, पुराणी सी साडी पहने बैठी एक औरत जो भुट्टा भून रही है, एक लड़का जूता पोलिश कर रहा है.

Scene-
(CU) हैट पहने एक आदमी जोर-जोर से नाक साफ़ कर रहा है. चेहरा नज़र नहीं आ रहा. बॉस
 के सामने रेडी के दूसरी और दो पहलवानों ने एक लड़के को पकड़ रखा है. हालत से ही लगता है की खूब पिता है. माथे पर सूज कर एक गेंद सी बन गयी है. लेकिन वो खड़ा मुस्कुरा रहा है.
(cut to)

बॉस नाक साफ़ करके सैक्रेटरी की पैंट से अपना हाथ पोंछता है. और लड़के को बोलने का इशारा करता है.
लड़का (छोटू)
हैं...?

मेनेजर
अबे बोल

लड़का (छोटू)
ओह ! (एकदम से रोने लगता है) मुझे माफ़ कर दीजिये उस्ताद! मैं कुत्ता हूँ, मैं कमीना  हूँ. मैं आपके हाथ पड़ता हूँ, आपके आगे पैर जोड़ता हूँ, मुझसे माफ़ी हो गयी मुझे गलती दे दीजिये. मुझे कुछ समझ नहीं आ रहा की मैं क्या बोल रहा हूँ, मैं पागल हो गया हूँ.

मेनेजर
चुप ! (ऊंची आवाज़ में)

छोटू
(एकदम से रोना बंद कर देता है) क्या हुआ?

मेनेजर
तुम्हे हरगिज़ माफ़ नहीं किया जा सकता

छोटू
पर ऐसा भी क्या कर दिया मैंने?

मेनेजर
तुमने चंपा चाए कोर्नर का नुक्सान किया है

छोटू
अजी कौन सा खजाना खाली कर दिया ३ रुपये का गिलास ही तो टूटा है. मेरी तनख्वाह में से काट लेना.

(बॉस जोर से मेज पर हाथ मरता है. सब दर जाते हैं. बॉस सर उठता है, वो के. एल. सहगल है)

सहगल
तुम्हारी हिम्मत कैसे हुए चंपा चाए कोर्नर का नुक्सान करने की. चंपा चाय कोर्नर... जिसकी चाय का स्वाद ओबामा से ओसामा तक की जुबां पर है.

मेनेजर
मैडोना का तो पेट साफ़ नी होता हमारी चाय के बिना...

सहगल
कारगिल में फौजी हमारी चाय पीते हैं, तभी जीते हैं.

मेनेजर
वीरप्पन को भी फौजियों ने हमारी चाय पिला के मारा था...

सहगल
पूजा करते हैं लोग हमारी चाय की पूजा...

मेनेजर
(विनम्रता से) चंपा चाय चालीसा और चंपा चाय जी की आरती मार्किट में आसानी से उपलब्ध है...

सहगल
(मेनेजर से) ये वाला अच्छा था

छोटू
हूँ... चाय न हो गयी गरम पानी का चश्मा हो गया

सहगल
चुप कर बदतमीज़

छोटू
(फिर से रोने लगता है) उस्ताद मेरे छोटे-छोटे बीवी बच्चे हैं...

मेनेजर
बीवी भी छोटी है?

छोटी
(शरमाते हुए) नहीं बीवी तो बड़ी  है

मेनेजर
तो फिर चिंता मत कर, वो बच्चों को संभाल लेगी.

छोटू
उस्ताद मुझे नौकरी से मत निकालिए, प्लीज़ उस्ताद.

मेनेजर
तुम्हे नौकरी से कौन निकाल रहा है? ठीक होते है तुम फिर से काम पर आ जाना.

छोटू
(हैरान होकर) ठीक होते है मतलब? (खुश होते हुए) मैं तो ठीक हूँ...

(-कहकर छोटू अपने दोनों और खड़े पहलवानों के और बारी-बारी देखता है. और फिर रो पड़ता है. मेनेजर पहलवानों को इशारा करता है. पहलवान उसे उठाकर खिड़की से बहार फैंक देते हैं. पहले उसके चीखने और फिर उसके धडाम से गिरने, डिब्बे, टीन-टप्पर और एक बिल्ली की चीखने की आवाज़.

क्रमश: